हैवानियत भी शरमा जाए, ऐसी है रिटायर्ड आईएएस की पत्नी और भाजपा नेत्री सीमा पात्रा की करतूत


हम इस खबर के साथ सुनीता की दो तस्वीरें लगा रहे हैं. पहली तस्वीर वह, जब सुनीता भली-चंगी थी और दूसरी तस्वीर वह जो आज-कल की है

आदिवासी बेटी पर अत्याचार की रोंगटें खड़ा करने वाली दास्तां, पेशाब जीभ से साफ करवाया, बेटे ने आवाज उठायी तो उसे पागलखाना भिजवाया
झारखंड में सत्तापक्ष अपनी कुर्सी बचाने में, तो विपक्ष किसी भी हाल में सत्ता से यूपीए को बेदखल करने के खेल में व्यस्त है. छोटे-बड़े तमाम मीडिया का एंगल फिलवक्त राजनीति ही है. उधर, झारखंड की उपराजधानी दुमका में एक लड़की को सिरफिरे युवक ने एकतरफा प्यार में जिंदा ही जलाकर मार डाला. दुमका से लेकर राजधानी रांची तक बात पहुंचती है. लेकिन उस लड़की तक यूपीए और एनडीए का कोई शख्स नहीं पहुंच पाता है. रांची के रिम्स में अंकिता नाम की लड़की तड़प कर जान दे देती है. मौत के बाद सोशल मीडिया पर इक्का-दुक्का नेता अंकिता के लिए आंसू बहाते हैं. लेकिन उसके रहते उसकी बेहतर इलाज के लिए किसी ने जहमत नहीं उठायी. खैर अब सोशल मीडिया पर “अंकिता हम शर्मिंदा हैं” ट्रेंड कर रहा है. शायद कानूनी प्रक्रिया से अंकिता को मरने के बाद न्याय मिल भी जाए. लेकिन रांची के उसी रिम्स में झारखंड की एक आदिवासी बेटी एक रसूखदार शख्सियत की हैवानियत की वजह से तड़प रही है. रिटायर्ड आईएएस महेश्वर पात्रा की पत्नी और भाजपा की नेत्री सीमा पात्रा ने सुनीता नामक इस लड़की के साथ ऐसे अत्याचार किये हैं कि हैवानियत भी शरमा जाये. बर्बरता की दास्तां हम आपको किस्तवार बतायेंगे.
नरक से बदतर कर दी जिंदगी
महेश्वर पात्रा झारखंड के एक रिटायर आईएएस अधिकारी हैं. उनकी पत्नी का नाम सीमा पात्रा है. इन दोनों को एक बेटा आयुष्मान पात्रा और एक बेटी वत्सला पात्रा है. करीब 10 साल पहले वत्सला की एनटीपीसी में नौकरी लगी तो वो दिल्ली चली गयी. वहां उसे एक मेड की जरूरत पड़ती है. कोई व्यक्ति गुमला की रहने वाली सुनीता खाखा को उसके यहां रखवा देता है. सुनीता के घरवाले उसे यह सोचकर भेज देते हैं दिल्ली में काम करेगी तो उसके घर की गरीबी दूर होगी. लेकिन कौन जानता था कि उसकी जिंदगी नर्क से भी बदतर होने जा रही है. चार साल काम करने के बाद आज से करीब छह साल पहले वत्सला वापस रांची आ जाती है. उसके साथ सुनीता भी आ जाती है. यहां वत्सला की मां यानी सीमा पात्रा के हाथों पिछले छह साल से किस तरह से प्रताड़ित हुई है और उसके साथ किस तरह रोंगटे खड़े करने वाले जुल्म हुए हैं, इसकी गवाही उसके जिस्म पर मौजूद दर्जनों जख्म देते हैं. उसके दांत तोड़ दिये गये हैं. उसे गरम तवों से दागा गया है. फर्श पर पेशाब तक जीभ से साफ करने तक की सजा उसे दी गयी. सुनीता को नहीं पता कि उसका जुर्म क्या था, जिसकी सजा उसे मैडम ने किस्तों में दी. उसे कुछ दिन पहले पुलिस ने उसे सीमा पात्रा के घर से मुक्त कराया है. उसका इलाज रिम्स में चल रहा है. हम इस खबर के साथ सुनीता की दो तस्वीरें लगा रहे हैं. पहली तस्वीर वह, जब सुनीता भली-चंगी थी और दूसरी तस्वीर वह जो आज-कल की है.

Mukesh tiwari

स्वामी, प्रकाशक एवं संपादक- मुकेश तिवारी पता- हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी रामगोपाल तिवारी नगर ,बिलासपुर, छ ग मोबाइल- 9174310780 ईमेल- sunaminewsmp36@gmail.com समाचार पोर्टल Sunami Chhattisgarh.com में प्रकाशित खबरों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है . समाचार की विषय वस्तु संवाददाता के विवेक पर निर्भर है. यह एक हिंदी न्यूज़ पोर्टल है जिसमें बिलासपुर और छत्तीसगढ़ के साथ देश और दुनिया की खबरें प्रकाशित की जाती है।पोर्टल में प्रकाशित किसी भी खबर में कानूनी विवाद की स्थिति में संबंधित रिपोर्टर ही पूर्णतः उत्तरदायी है।

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