छत्तीसगढ़ के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने प्रचंड जीत दर्ज की है। बीजेपी को छत्तीसगढ़ में कुल 54 सीटों पर जीत मिली है। प्रचंड जीत के बाद बीजेपी के सामने सबसे बड़ी चुनौती मुख्यमंत्री पद को लेकर है। पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह के अलावा कई और नाम चर्चा में आगे चल रहे हैं। BJP ने चुनाव से पहले किसी भी CM चेहरे को पेश नहीं किया था। विधानसभा चुनाव प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के चेहरे पर लड़ा गया है। सूत्रों का कहना है कि पार्टी इस बार किसी नए चेहरे पर दांव लगा सकती है। इस रेस में आदिवासी समाज से आने वाले विष्णुदेव साय का नाम भी आगे चल रहा है।
कौन हैं विष्णुदेव साय?
विष्णुदेव राय छत्तीसगढ़ की कुनकुरी विधानसभा से आते हैं। राज्य में आदिवासी समुराय की आबादी सबसे अधिक है और राय इसी समुदाय से आते हैं। अजित जोगी के बाद छत्तीसगढ़ में कोई दूसरा मुख्यमंत्री नहीं बन सका। बीजेपी इस बार आदिवासी समुदाय से किसी को मुख्यमंत्री बना सकती है। विष्णुदेव साय 2020 में बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष रहे हैं। सांसद और केंद्रीय मंत्री भी रहे हैं। इतना ही नहीं राय की गिनती संघ के करीबी नेताओं में होगी है। वह रमन सिंह के भी करीबी हैं। साल 1999 से 2014 तक वह रायगढ़ से सांसद रहे हैं। मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में साय को केंद्र में मंत्री बनाया गया। जिसके बाद इन्होंने संगठन पद से इस्तीफ़ा दे दिया था।
छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री पद की रेस में बीजेपी अध्यक्ष अरुण साव का नाम भी चर्चा में चल रहा है। वह ओबीसी समाज से आते हैं। इसके अलावा सरोज पांडेय का नाम भी सीएम पद की रेस में चल रहा है। सरोज पांडेय बीजेपी की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और राज्यसभा सांसद हैं। वह बीजेपी महिला मोर्चा की राष्ट्रीय अध्यक्ष भी रह चुकी हैं। 2009 में लोकसभा का चुनाव जीत चुकी हैं हालांकि 2014 में मोदी लहर के दौरान भी वह चुनाव हार गईं। मुख्यमंत्री पद के लिए जिस एक और नाम पर चर्चा हो रही है वह बृजमोहन अग्रवाल का है। सात बार के विधायक बृजमोहन रमन सिंह सरकार में मंत्री भी रहे हैं। बृजमोहन अग्रवाल के अलावा विजय बघेल के नाम भी चर्चा में है।